राजस्थान सरकार ने पांचवे,छठे और राजस्थान सिविल सेवा नियम,1998 के तहत लगे राज्य कर्मचारियों, वर्क चार्ज वाले कार्मिकों और पेंशनरों के महंगाई भत्ते और महंगाई राहत की दर में केन्द्र सरकार के कर्मचारियों के बराबर बढ़ोतरी को मंजूरी दी है। मुख्यमंत्री ने इस बढ़ोतरी के लिए फायनेंस डिपार्टमेंट के प्रपोजल को अप्रूव कर दिया है। मुख्यमंत्री ने 5 बिजली कम्पनियों के 60 हजार 700 कर्मचारियों को राज्य कर्मचारियों के बराबर ही बोनस-एक्सग्रेशिया भी देने का फैसला लिया है। इस फैसले से बिजली कम्पनियों के करीब 60 हजार 700 कर्मचारियों को फायदा होगा। और सरकार पर करीब 40 करोड़ रुपए का अतिरिक्त वित्तीय भार आएगा।
केन्द्र सरकार की तर्ज पर की गई बढ़ोतरी
केंद्र सरकार ने पांचवें और छठे वेतनमान के तहत आने वाले कर्मचारियों के लिए संशोधित महंगाई भत्ते में बढ़ोतरी कर इन्हें 196 और 368 फीसदी करने के आदेश 1 नवम्बर, 2021 को ही जारी किए हैं।राज्य सरकार भी इन कैटेगरी के कर्मचारियों और पेंशनर्स को केन्द्र के बराबर ही पेमेंट करती रही है। मुख्यमंत्री ने इसी आधार पर यह बढ़ोतरी की है। 5वें वेतन वाले कर्मचारियों और पेंशनर्स के लिए महंगाई भत्ते और महंगाई राहत दर 189 फीसदी थे, जिसे बढ़ाकर 196 फीसदी किया गया है। जबकि छठे वेतन वालों का महंगाई भत्ता और दर 356 फीसदी थे, जिसे 368 फीसदी करने का फैसला लिया है। इस फैसले से बड़ी संख्या में राज्य सरकार के कर्मचारी और पेंशनर्स को फायदा होगा।
5वें वेतन पर 368 फीसदी,छठे वेतन पर 196 फीसदी महंगाई भत्ता
अब पांचवें वेतन और राजस्थान सिविल सेवा नियम के तहत आने वाले राज्य कर्मचारियों और पेंशनर्सको 1 जुलाई, 2021 से 368 फीसदी महंगाई भत्ता या महंगाई राहत की दर का पेमेंट होगा। जबकि छठे वेतन आयोग और राजस्थान सिविल सेवा में काम कर रहे कर्मचारियों और पेंशनर्स को 196 फीसदी महंगाई भत्ता या महंगाई राहत दर से पेमेंट होगा। इससे पहले 14 और 21 सितम्बर, 2021 को भी इन कैटेगरी के कर्मचारियों और पेंशनरों के लिए महंगाई भत्ते और महंगाई राहत दर में संशोधन किया था।
5 बिजली कम्पनियों के कर्मचारियों को बोनस और एक्सग्रेशिया पेमेंट
मुख्यमंत्री ने प्रदेश की 5 बिजली कम्पनियों के कर्मचारियों को साल 2020-21 के लिए बोनस या एक्स ग्रेशिया का पेमेंट देने का फैसला लिया है। सीएम ने बिजली विभाग से मिले प्रपोजल को अप्रूव कर दिया है। जिसके मुताबिक बिजली कम्पनियों के कर्मचारी भी राज्य कर्मचारियों के बराबर ही बोनस या एक्स ग्रेशिया पाने के हकदार होंगे।डेपुटेशन पर लगे कर्मचारियों को भी यह पेमेंट दिया जाएगा। पे-मैट्रिक्स लेवल-12 या ग्रेड पे-4800 और इससे नीचे लेवल की सैलेरी ले रहे बिजली कम्पनियों के कर्मचारियों को यह पेमेंट मिलेगा। फायनेंशियल ईयर 2020-21 के लिए अधिकतम 7 हजार रुपए और 31 दिन के महीने के आधार पर इसकी काउंटिंग की जाएगी। बोनस 30 दिन की अवधि के लिए हर कर्मचारी को अधिकतम 6 हजार 774 रुपए मिलेगा।इस फैसले से विद्युत कम्पनियों के करीब 60 हजार 700 कर्मचारियों को फायदा होगा और सरकार पर करीब 40 करोड़ रुपए का अतिरिक्त वित्तीय भार आएगा।