प्रश्न – मध्यावधि और शीतकालीन अवकाश के साथ आकस्मिक अवकाश देय है या नहीं? क्या उक्त अवधि में नियम 92 बी अंतर्गत उपार्जित अवकाश देय है?
उत्तर – वित्त विभाग द्वारा जारी आदेश क्रमांक – EDB/PER/6128/3308/62 दिनांक 28-9-1962 के अनुसार- Summer vacation should only be treated as vacation for the purpose of Leave Rules in the Rajasthan Service Rules and that the breaks such as winter and Deshara breaks should be treated as Gazetted holidays for the purpose of aforesaid rules.
शिक्षा निदेशक महोदय (प्रा.मा.) शिक्षा बीकानेर के पत्रांक 17.07.1972 एवं उपसचिव शिक्षा (ग्रुप-2) के आदेश दिनांक 02.09.1972 के प्रत्युत्तर में वित्त विभाग के द्वारा जारी स्पष्टीकरण दिनांक 13.10.1972 के अनुसार- Winter break is not treated as vacation and so casual leave can be sanctioned with Winter break.
वित्त विभाग के ज्ञापन क्रमांक एफ.1(23)एफडी(नियम)/69, दिनांक 02.02.1971 (01.01.1971 से प्रभावी) के अनुसार वेकेशन (ग्रीष्मावकाश) के क्रम में आकस्मिक अवकाश देय नहीं है।
अतः स्पष्ट है कि केवल ग्रीष्मकालीन अवकाश को ही वेकेशन माना गया है, दीपावली एवं शीतकालीन अवकाश को वेकेशन नही माना गया है।
अतः ग्रीष्मकालीन अवकाश को छोड़कर दीपावली/शीतकालीन अवकाश के क्रम या निरंतरता में नियमानुसार आकस्मिक अवकाश लिया जा सकता है।
शिविरा पत्रिका मई जून 1978 में निदेशक महोदय से सीधी बातचीत कॉलम के प्रश्न संख्या-1 में स्पष्ट किया गया है कि- मध्यावधि अवकाश को वेकेशन नहीं माना गया है अतः मध्यावधि अवकाश और शीतकालीन अवकाश में राजकार्य के बदले रा.से.नि. 92(बी) के अनुसार उपार्जित अवकाश का लाभ देय नही है।
शिक्षा विभाग में कार्यरत कर्मचारी को दीपावली अवकाश/शीतकालीन अवकाश /ग्रीष्मकालीन अवकाश के प्रारंभ व अंत में दोनों तरफ उपस्थित रहना आवश्यक है क्या?
शिक्षा विभाग में दीपावली अवकाश/ शीतकालीन अवकाश/ ग्रीष्मकालीन अवकाश के प्रारंभ में या अंत में से एक कार्य दिवस पर उपस्थित रहना आवश्यक है। उक्त अवकाशों के पूर्व में या अंत में आकस्मिक अवकाश स्वीकृत नहीं हो सकते हैं।इसके अतिरिक्त अन्य प्रकार का अवकाश पूर्व में या पश्चात एक समय ही स्वीकृत हो सकता है।
राजस्थान सरकार के सेवारत अधिकारियों / कर्मचारियों द्वारा पेंशनर्स का जीवन प्रमाण पत्र (Life certificate for Pensioners) अपलोड करने की प्रक्रिया
अभी राज्य सरकार ने राजस्थान पेंशनर समाज की मांग पर पेंशनरों के जीवन प्रमाण पत्र प्रस्तुत करने की प्रक्रिया और सरल कर दी है । अब चतुर्थ श्रेणी कर्मचारी को छोड़कर कोई भी सेवारत राज्य कर्मचारी / अधिकारी किसी भी पेंशनर का जीवन प्रमाण पत्र अपनी SSO ID से अपलोड कर सकेगा।
इस आदेश में उल्लिखित डिजिटल हस्ताक्षर व प्रक्रिया को लेकर हमारे कुछ साथी भ्रमित हो रहे हैं।
इस संबंध में प्रक्रिया की विस्तृत जानकारी नीचे दी जा रही है।
(1) राज्य कर्मचारी अपनी SSO ID को लॉगिन करेगा और SSO पोर्टल पर उसके बाद IFMS 3.0 पर जायेगा ।
(2) IFMS 3.0 में Employee Self Service (ESS) के ऑप्शन पर क्लिक करेगा ।
(3) उसके बाद Pensioner Life Certificate को क्लिक करेगा ।
(4) उसमें संबंधित पेंशनर (जिसका जीवन प्रमाण पत्र अपलोड करना है) का PPO नंबर और बैंक खाते के अंतिम चार अंक डालेगा ।
(5) इस प्रक्रिया के पश्चात स्क्रीन पर पेंशनर का पूरा विवरण आ जाएगा एवं जीवन प्रमाण पत्र का प्रारूप भी दिखाई देगा ।
(6) इस स्टेज में इसके पश्चात Approve & e Sign पर क्लिक करने के बाद अधिकारी / कर्मचारी डिजिटल हस्ताक्षर करने के लिए अपने स्वयं के आधार कार्ड के नंबर डालेगा ।
(7) कर्मचारी / अधिकारी के मोबाइल फोन पर आधार OTP आयेगा ।
(8) आधार OTP दर्ज करते ही स्क्रीन पर डिजिटल हस्ताक्षर युक्त संबंधित पेंशनर का जीवन प्रमाण पत्र दिखाई देगा ।
(9) इस जीवन प्रमाण पत्र को कर्मचारी / अधिकारी द्धारा सबमिट बटन दबा कर सबमिट कर दिया जाना है ।।
(10) इतना करने के पश्चात यह जीवन प्रमाण पत्र सीधे ऑनलाइन IFMS 3.0 में पेंशनर के खाते में लिंक हो जायेगा और जीवन प्रमाणन की कार्रवाई पूर्ण हो जायेगी ।
आशा करते हैं कि ऊपर दर्शाई गई स्टेप वाइज़ प्रक्रिया से अब सभी पेंशनर बंधुओं को इस संबंध में हो रहे किसी तरह के भ्रम को दूर करने में आसानी होगी।